Answer:
मनीषा : पारुल, आजकल महिलाओं के प्रति होने वाले अपराध कितनी बढ़ गए हैं ना ?
पारुल : हाँ, तुम सही कह रही हो । समाचार-पत्र में आधे समाचार तो महिला अपराधों से ही भरे रहते हैं।
मनीषा : नारी सुरक्षा के लिए सरकार ने कई काम किये हैं लेकिन तब भी कुछ ज्यादा प्रभाव नहीं पड़ा ।
पारुल : हाँ, महिलाओं के लिए यातायात के साधनों में अलग स्थान सुरक्षित रहता है, लेकिन तब भी कई पढ़े-लिखे लोग भी उन्ही महिलाओं के लिए आरक्षित सीट पर बैठ जाते हैं और मौका तलाशते रहते हैं कि कब महिलाओं को परेशान किया जाये ।मनीषा : अरे कल तो हद ही हो गई मैं बिल जमा कराने के लिए गई और महिला काउंटर पर एक आदमी खड़ा हुआ था । जब मैंने उससे हटने के लिए कहा तो बोलने लगा कि बस काम होने ही वाला है । वहाँ खड़ी महिलाओं ने कुछ नहीं कहा ।
पारुल : सच में, महिला सुरक्षा के लिए स्वयं महिलाएं भी तो जिम्मेदार हैं । जब तक हम ही आवाज नहीं उठाएंगी तब तक सरकार भी नियम-कायदे बना कर क्या कर लेगी ?
मनीषा : बाज़ार में तो पेप्पर स्प्रे जैसी अब कई चीजें मिलती हैं जो महिलएं अपने बैग में अपनी सुरक्षा के लिए रख सकती हैं । उसके अलावा मोबाइल में भी आप अपना लाइव लोकेशन एक्टिवेट कर सकते हैं जिससे आप कहाँ पर हैं, यह पता चल सके ।
पारुल : वाकई में नारी सुरक्षा के लिए उपाय तो बहुत हैं, बस महिलाओं को अपनी सुरक्षा के लिए जागरूक होने की जरुरत है ।